रायपुर: मुख्य सचिव ने राज्य शासन की आमदनी बढ़ाने के उपायों के संबंध में आज यहां मंत्रालय महानदी भवन से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सभी संभागीय कमिश्नर एवं कलेक्टर्स की बैठक ली। बैठक में अधिकारियों को उनके विभाग की राजस्व वसूली की मदों पर विशेष प्रयास करने के निर्देश दिए। बैठक में राजस्व, नगरीय प्रशासन, आवास एवं पर्यावरण, खनिज संसाधन, वाणिज्य कर सहित अन्य विभागों की राजस्व वृद्धि के लिए समयबद्ध योजना तैयार कर कार्य करने के लिए व्यापक विचार-विमर्श किया गया। बैठक में वाणिज्यिकर विभाग के प्रमुख सचिव गौरव द्विवेदी भी शामिल हुए।
मुख्य सचिव ने जिला कलेक्टरों को निर्देश दिए कि शासकीय भूमि आबंटन, व्यवस्थापन, नजूल एवं आबादी पट्टों को फ्री होल्ड करने एवं स्लम पट्टों पर मालिकाना अधिकार देने के लिए लोगों को उनके हितों की जानकारी देने के लिए विशेष प्रयास करें। मुख्य सचिव ने नगरीय क्षेत्रों में शासकीय भूमि के आबंटन के लिए शहरों में खाली भू-खण्डों को चिन्हित करने एवं खाली भूमि के रकबा एवं संख्या को जिले के वेबसाइट पर अपलोड करने के निर्देश दिए। इसी तरह से नगरीय इलाकों में व्यवस्थापन योग्य नजूल भूमि का सर्वे अभियान चलाकर करने की बात कही। मुख्य सचिव ने नजूल एवं आबादी पट्टों को फ्री होल्ड करने के लिए भौतिक एवं वित्तीय लक्ष्य निर्धारित कर हितग्राहियों से आवेदन प्राप्त करने के निर्देश दिए। मुख्य सचिव ने नगरीय प्रशासन विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि उनके क्षेत्र के वार्ड-पार्षदों को उनके क्षेत्र का नजूल भूमि, व्यवस्थापन योग्य भूमि एवं नगरीय निकायों की दुकानों एवं भूखण्डों की जानकारी दी जाए। जिससे वे अपने वार्ड क्षेत्र के नागरिकों को इसकी जानकारी दे सकें। बैठक में अवैध निर्माण के व्यवस्थापन, आवासीय भूमि पर व्यवसायिक गतिविधियों का नियमितीकरण, निकायों की विक्रय योग्य सम्पतियों, व्यवसायिक भूखण्डों का विकास एवं आबंटन, भूमि प्रयोजन परिवर्तन के प्रकरणों पर कन्वर्जन चार्जेस लेकर तुरंत निराकरण के लिए राजस्व विभाग के अधिकारियों से समन्वय कर आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश दिए है। मुख्य सचिव ने संभागीय कमिश्नरों को इसकी लगातार समीक्षा करने के निर्देश दिए है।
मुख्य सचिव ने खनिज विभाग के अधिकारियों को सभी संचालित खदानों में पूरी क्षमता से उत्पादन करने के लिए एक्शन प्लान बनाने एवं वर्तमान में संचालित खदानों की खनन क्षमता बढ़ाने हेतु समयबद्ध कार्यक्रम चलाने के निर्देश दिए। उन्होंने खनन योग्य शेष रह गई खदानों से खनन आरंभ करने समय-सीमा निर्धारित कर खनन कार्य करने के लिए आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश दिए। इसी प्रकार से जल संसाधन विभाग के अधिकारियों को उद्योगों से जल कर की वसूली एवं वाणिज्यिकर विभाग के अधिकारियों से जीएसटी एवं वेट से राजस्व वृद्धि की विस्तृत जानकारी ली। बैठक में राजस्व विभाग के सचिव एन.एन.एक्का, जल संसाधन विभाग के सचिव अन्बलगन पी., नगरीय प्रशासन विभाग की सचिव अलरमेल मंगई डी, खनिज संसाधन विभाग के संयुक्त सचिव एवं संचालक भौमिकी एवं खनिकर्म जयप्रकाश मौर्य सहित अन्य विभागों के अधिकारी मौजूद थे।