नई दिल्ली। पीएम नरेन्द्र मोदी दक्षिण पूर्वी एशिया में स्थित भौगोलिक तौर पर छोटे से देश ब्रुनेई की यात्रा करने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री बन गये हैं।अगले तीन दिनों में दो देशों की यात्रा के पहले चरण में शाम तीन बजे पीएम मोदी का विशेष विमान ब्रुनेई दारुसलाम के हवाई अड्डे पर उतरा। वहां की सरकार ने आतिथ्य सत्कार दिखाते हुए क्राउन प्रिंस हाजी अल-मुहतादी बिल्लाह को उनकी आगवानी के लिए भेजा।

पीएम मोदी बुधवार को ब्रुनेई के सुल्तान हाजी हसनल बोलिकायह के साथ द्विपक्षीय बैठक करेंगे और उसी दिन देर शाम सिंगापुर के लिए रवाना हो जाएंगे। ब्रुनेई में पीएम मोदी की वार्ता में रक्षा और ऊर्जा संबंधों को लेकर खास तौर पर बात होगी।ब्रुनेई ने अपना रक्षा बजट बढ़ाया है ऐसे में भारत को वहां कुछ बड़े अवसर मिल सकते हैं। साथ ही यह देश ऊर्जा भंडारों के मामले में काफी संपन्न है। भारत अभी भी ब्रुनेई से कच्चे तेल का अच्छा खासा आयात करता है।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रंधीर जायसवाल ने कहा है कि, “किसी भारतीय पीएम की यह पहली ब्रुनेई यात्रा है जो इसे खास बनाता है।”ब्रुनेई रवाना होने से पहले पीएम मोदी ने एक बयान जारी कर कहा है कि, ब्रुनेई और सिंगापुर भारत की ‘एक्ट ईस्ट’ और हिंद प्रशांत क्षेत्र को लेकर नीति के तहत महत्वपूर्ण साझेदार देश हैं। उनकी इस यात्रा से दोनों देशों के साथ साथ पूरे दक्षिणी पूर्वी एशियाई क्षेत्र के साथ भारत का रिश्ता मजबूत होगाा।

पीएम मोदी ने भारत और ब्रुनेई के बीच कूटनीतिक संबंधों के 40 वर्ष पूरा होने का खास तौर पर जिक्र किया है। वहां पहुंचने के बाद मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर लिखा है कि,“मैं आशा करता हूं कि ब्रुनेई के साथ खास तौर पर वाणिज्यिक व सांस्कृतिक क्षेत्र में और मजबूत होंगे।’

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