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बलरामपुर।बलरामपुर जिले के राजपुर वन परिक्षेत्र के अंतर्गत चाची में आवर्ती चराई योजना के अंतर्गत मां महामाया स्व सहायता समूह ने 85 दिन में कमाए 91 हजाए रुपए। ग्रामीण क्षेत्र की महिलाएं मशरूम उत्पादन कर अपनी आमदनी बढ़ाने के साथ ही आर्थिक रूप से मजबूत हो रही हैं।
बलरामपुर वन मंडलाधिकारी लक्ष्मण सिंह व राजपुर वन परिक्षेत्राधिकारी अजय तिवारी ने आवर्ती चराई योजना के अंतर्गत मां महामाया स्व सहायता समूह को 45 हजार रुपए दिए थे। मां महामाया समूह में 11 महिलाओं ने वन विभाग के चाची बेरियर के कैम्पस में मशरूम का उत्पादन कर 85 दिन में कमाए 91 हजाए रुपए। समूह की महिलाएं मशरूम उत्पादन कर 200 ग्राम के पैकेट बनाकर 40 रुपए में स्थानीय हाट बाजार बरियों, ककना, धौरपुर, राजपुर आदि में बेच रही है। स्व सहायता समूह की महिलाओं ने बताया कि दो साल तक कोरोना के कारण कोई काम नही मिला घर की स्थिति काफी खराब हो गई थी।
वन विभाग की मेहरबानी के कारण हम गरीब परिवार वालों को मशरूम उत्पादन का काम मिला है। समूह को मशरुम उत्पादन करते हुए मात्र 85 दिन हुए हैं समूह की महिलाओं ने हाट बाजारों में बेचकर 91 हज़ार रुपए कमाए हैं आगे समूह की महिलाएं मशरूम पैकेट बनाकर बाहर भेजने की तैयारी कर रही है जिससे महिलाओं की आर्थिक स्थिति में सुधार आएगी। स्व सहायता समूह में महिलाएं गीता, जानकी, मुनकी, जूही, गौरी, प्रियंका, सविता, कामनी, सनमुन्नी, रूपनी व हीरामणि शामिल है।
आवर्ती चराई योजना के अंतर्गत मां महामाया समूह को वन मंडलाधिकारी लक्ष्मण सिंह के निर्देश पर 45 हजार रुपए दिए गए है। समूह की महिलाओं ने 85 दिन में 91 हजाए रुपए कमाए है।
अजय तिवारी, वन परिक्षेत्राधिकारी-राजपुर।