
नई दिल्ली: पिछले साल जुलाई में निजी टेलीकॉम कंपनियों ने मोबाइल रिचार्ज प्लान की दरें बढ़ा दीं थी। इसके बाद कई यूजर्स सरकारी टेलीकॉम कंपनी BSNL में अपना नंबर पोर्ट करा लिया। अगर, आपको भी लगता है कि भारत में मोबाइल रिचार्ज प्लान काफी महंगा हो गया है, तो आप गलत हैं। केंद्रीय संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री ज्योतिरादित्य संधिया ने गुरुवार को लोकसभा में बताया कि पिछले 10 साल में मोबाइल रिचार्ज प्लान 94% प्रतिशत तक सस्ता हो गया है।
10 साल में सस्ता हुआ मोबाइल रिचार्ज
केन्द्र की मोदी सरकार ने पिछले 10 साल में करोड़ों मोबाइल यूजर्स को सस्ते रिचार्ज का बड़ा तोहफा दिया है। लोकसभा में पूछे गए एक सवाल का जवाब देते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि 2014 में देश में 90 करोड़ मोबाइल फोन यूजर्स थे, जिसकी संख्यां अब बढ़कर 116 करोड़ हो गई है। इसी तरह इंटरनेट यूजर्स की संख्यां भी 25 करोड़ से बढ़कर 97.44 करोड़ हो गई है।
केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि जब यूजर्स की संख्यां बढ़ती है तो टैरिफ की निगरानी करना आवश्यक हो जाता है। लोकसभा में आंकड़ा पेश करते हुए ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि 2014 में एक मिनट कॉल के लिए एवरेज 50 पैसे लगते थे, जो अब मात्र 3 पैसे लगते हैं। वहीं, 2014 में 1GB डेटा की कीमत 270 रुपये थी, जो अब घटकर 9.70 रुपये रह गई है। मोबाइल की तरह ही प्रति GB ब्रॉडबैंड डेटा की कीमत भी 9.70 रुपये है, जो 2014 में 270 रुपये प्रति जीबी थी।
98% जिलों में पहुंचा 5G
लोकसभा में बोलते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि भारत में इंटरनेट डेटा टैरिफ विश्व में सबसे सस्ता है। देश में 5G लॉन्च होने के बाद से मोबाइल टैरिफ में 10 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। पिछले 22 महीने में देश के 98% जिले और 82% आबादी 5G नेटवर्क से जोड़े जा चुके हैं। देश में टेलीकॉम इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 4.5 लाख करोड़ रुपये का निवेश किया गया है। इस निवेश पर रिटर्न मिलना जरूरी है। इसलिए टेलीकॉम कंपनियों द्वारा पिछले साल टैरिफ बढ़ाना जरूरी था। वैश्विक स्तर पर भारत में मोबाइल डेटा और कॉल सबसे सस्ता है।



















