कोरबा। जिले में उरगा थानांतर्गत ग्राम दादरकला के जंगल में नर कंकाल के कुछ अवशेष पाए गए हैं। मौके पर पाए गए कपड़ों के आधार पर उसकी पहचान गिरधारी लाल यादव के रुप में की गयी है, जिसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट 1 सितंबर को दर्ज कराई गई थी। मौके पर मौजूद साक्ष्यों के आधार पर उसकी मौत किसी जंगली जानवर के हमले में होने की आशंका जताई जा रही है। मर्ग कायम कर पुलिस ने जांच शुरु कर दी है।
उरगा थाना क्षेत्र के ग्राम दादरकला में उस वक्त सनसनी फैल गई, जब गांव के जंगल में नरकंकाल के कुछ अवशेष पाए गए। घने जंगल के मध्य झाड़ियों के बीच कंकाल मिलने से पूरा गांव सकते में आ गया। हकीकत जानने लोग जंगल पहुंचे और मौके पर मौजूद कपड़ों के आधार पर कंकाल की पहचान गिरधारी लाल यादव के रुप में की गई। गिरधारी लाल 1 सितंबर को लकड़ी काटने जंगल गया हुआ था, लेकिन वहां से वापस नहीं लौटा था।
परिजनों ने उसके लापता होने के बाद आस-पास और रिश्तेदारों के घर उसकी खोज की, लेकिन उसका जब कोई नहीं पता चला, तो उसने इसकी जानकारी पुलिस को दी। उरगा पुलिस ने इस मामले में लापता के परिजनों को सूचना के आधार पर गुमशुदगी दर्ज की थी।
उरगा थाना में पदस्थ एएसआई बलीराम निराला ने बताया कि ग्राम दादरकला में झाड़ियों के बीच नरकंकाल मिलने की जानकारी मिली थी। जहां पुलिस मौके पर पहुंची और जांच कार्रवाई शुरू की तो नरकंकाल के पास मिले चप्पल, गमछा और कपड़ों के आधार पर उसकी पहचान की गई। उस नरकंकाल की पहचान दादरकला निवासी गिरधारी लाल यादव के रूप में की गई। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
पुलिस ने अंदेशा जताया कि सांप के काटने या फिर किसी जानवर के हमले में उसकी जान गई होगी, फिर उन्हें जानवरों ने उसके शव को अपना भोजन बना लिया। मौके से हड्डियों के कुछ टुकड़े ही पाए गए हैं। मामले में मर्ग कायम करते हुए पुलिस ने हड्डियों को जब्त कर लिया है। पीएम सहित अन्य कार्रवाई के लिए अवशेष फारेंसिक लैब भेजे जा रहे हैं।