अंबिकापुर: डी०के० सोनी अधिवक्ता एवं आरटीआई कार्यकर्ता के द्वारा 7 दिसंबर को न्यायिक मजिस्ट्रेट बलरामपुर के समक्ष नरेंद्र त्रिपाठी थाना प्रभारी बलरामपुर के विरुद्ध धारा 12 न्यायालय अवमानना अधिनियम 1971 आवेदन प्रस्तुत किया गया है जिसमें डी०के० सोनी के द्वारा यह उल्लेख किया गया है कि न्यायालय के समक्ष धारा 156(3) आवेदन प्रस्तुत किया गया था जिसमें न्यायालय के द्वारा डी०के० सोनी प्रति प्रो० मेसर्स दुर्गा ट्रेडिंग कंपनी अन्य में सुनवाई उपरांत दिनांक 5 जुलाई को आदेश पारित कर आवेदक के आवेदन को स्वीकार किया गया।
न्यायालय के द्वारा 5. जुलाई 2023 को जो आदेश पारित किया गया उसमें संबंधित अभियुक्तगण के विरुद्ध प्रथम सूचना पत्र दर्ज कर 30 दिवस के अंदर मामले की जांच कर अभियोग पत्र एवं खत्मा खारिज की कार्यवाही कर कर न्यायालय में प्रस्तुत करने का आदेश थाना प्रभारी को दिया गया था लेकिन माननीय न्यायालय के उक्त आदेश के बाद भी चार माह से अधिक समय व्यतीत हो जाने के उपरांत थाना प्रभारी थाना बलरामपुर के द्वारा सिर्फ प्रथम सूचना पत्र क्रमांक 88/2023 अंतर्गत धारा 420 दर्ज किया गया है उक्त मामले में ना तो कोई अन्वेषण किया गया है और ना ही संबंधित अभियुक्तों की गिरफ्तारी की जा रही है।
नरेंद्र त्रिपाठी थाना बलरामपुर के थाना प्रभारी अभियुक्त नवीन बंसल प्रोप्राइटर मेसर्स दुर्गा ट्रेडिंग व उक्त अपराध में संलग्न तत्कालीन वन मंडलाधिकारी लक्ष्मण सिंह एवं अन्य आरोपियों से मिली भगत कर उनसे मोटी रकम लेकर उक्त मामले को दबाने का प्रयास किया जा रहा है जिसके कारण किसी प्रकार की कोई विवेचना नहीं की जा रही है और ना ही किसी प्रकार के दस्तावेजों की जब्ती एवं गिरफ्तारी की जा रही है जो कि माननीय न्यायालय के आदेश की स्पष्ट रूप से अवमानना है।
न्यायालय के आदेशानुसार थाना प्रभारी बलरामपुर को 30 दिवस के अंदर मामले की पूर्ण जांच कर परिणाम से न्यायालय का अवगत कराना था लेकिन थाना प्रभारी बलरामपुर के द्वारा किसी प्रकार की कोई कार्यवाही नहीं की जा रही है जबकि डी०के० सोनी के द्वारा दिनांक 28 अगस्त को थाना प्रभारी बलरामपुर के समय आवेदन देकर माननीय न्यायालय के आदेश का पालन करने का निवेदन किया गया था इसके अलावा 29. अगस्त को पुलिस अधीक्षक बलरामपुर के समक्ष लिखित में आवेदन प्रस्तुत कर उक्त अपराध में न्यायालय के आदेशानुसार अंतिम प्रतिवेदन/ खत्मा खारिजी प्रस्तुत करने का निवेदन किया गया था लेकिन पुलिस अधीक्षक बलरामपुर के द्वारा भी माननीय न्यायालय के आदेश की स्पष्ट रूप से अवमानना कर रहा है न्यायालय के आदेश का पालन करने हेतु पुलिस अधीक्षक महानिदेशक सरगुजा को भी 31 अगस्त को आवेदन प्रस्तुत कर न्यायालय के आदेश का पालन करने का निवेदन किया गया।
उसके उपरांत भी कोई कार्यवाही नहीं होने के कारण अधिवक्ता डी०के० सोनी के द्वारा न्यायिक मजिस्ट्रेट बलरामपुर दीपक कुमार शर्मा के न्यायालय में धारा 12 न्यायालय अवमानना अधिनियम 1971 के तहत आवेदन पेश किया गया जिस पर न्यायालय ने थाना प्रभारी नरेंद्र त्रिपाठी को नोटिस जारी करते हुए 30 दिसंबर को सुनवाई हेतु तिथि नियत की गई है।