अंबिकापुर: बलात्कार व हत्या के आरोप में केन्द्रीय जेल में आजीवन कारावास की सजा काट रहे कैदी युवक की संदिग्ध परिस्थिति में मौत हो गई। शनिवार की शाम को अचानक जेल में तबियत बिगडऩे पर जेल प्रशासन द्वारा उसे मेडिकल कॉलेज अस्पताल लाया गया था। यहां जांच पश्चात चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया। वहीं मृतक के परिजन ने लाश देखने पर जेल में उसके साथ मारपीट का आरोप लगाया है।
परिजनों ने लगाया ये आरोप
परिजन का कहना है कि मृतक के शरीर व सिर पर चोट के निशान है। उसे पूर्व से कोई बीमारी नहीं थी। अचानक उसकी मौत कैसे हो सकती है?सरगुजा जिले के उदयपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम साल्ही निवासी 32 वर्षीय सज्जन पोर्ते पिता परमा राम वर्ष २०१९ में धारा ३७६, पॉक्सो एक्ट व हत्या के मामले में केन्द्रीय जेल अंबिकापुर में बंद था। २६ फरवरी २०२२ को उसे न्यायालय द्वारा आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी।तब से वह केन्द्रीय जेल अंबिकापुर में सजा काट रहा था। केन्द्रीय जेल प्रशासन का कहना है कि शनिवार की शाम करीब 5.30 बजे सज्जन की अचानक तबियत बिगड़ गई।जेल के स्टाफ की मदद से उसे इलाज के लिए मेडिकल कॉलेज अस्पताल लाया गया। यहां जांच पश्चात डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
खराब थी तबियत
मृतक कैदी काफी दिनों से अस्वस्थ था। दिसंबर महीने में भी उसे इलाज के लिए मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया था। शनिवार की शाम को तबियत बिगडऩे पर उसे इलाज के लिए मेडिकल कॉलेज अस्पताल ले जाया गया था। जहां चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
योगेश सिंह क्षत्री, केन्द्रीय जेल अधीक्षक अंबिकापुर