दंतेवाडा: जिला अस्पताल में उपचार के लिए लाई गई एक बच्ची की मौत से बवाल मच गया है। बच्ची के माता-पिता का आरोप है कि वहां पदस्थ शिशु रोग विशेषज्ञ डाक्टर राजेश ध्रुव ने बच्ची को खाली पेट तीन-चार इंजेक्शन लगवा दिए।माता-पिता ने आरोप लगाया कि डाक्टर द्वारा इलाज में की गयी लापरवाही की वजह से उनकी बच्ची अनन्याश्री की मौत हो गयी। इस मामले को लेकर मृत बच्ची के पिता कंपनी कमांडर प्रदीप पासवान ने कलेक्टर विनीत नंदनवार और एसपी सिद्धार्थ तिवारी से शिकायत की है।
अनन्याश्री के माता-पिता ने बताया कि एक सितंबर को उनकी बेटी को तेज बुखार था। अगले दिन वो बच्ची को लेकर जिला अस्पताल शिशु रोग विशेषज्ञ डाक्टर राजेश ध्रुव के पास पहुंचे। इस वक्त बच्ची बातचीत कर रही थी। उस वक्त बच्ची के शरीर का तापमान 103 डिग्री था। डाक्टर ध्रुव ने बच्ची को एडमिट करने उसके माता-पिता से कहा। बच्ची के पिता प्रदीप पासवान ने बताया कि बुखार की जांच करने के बाद बच्ची को डाक्टर ध्रुव ने चार इंजेक्शन लगातार लगवा डाले। बच्ची ने कुछ खाया भी नहीं था।
इंजेक्शन लगने के कुछ देर बाद अनन्याश्री की तबीयत बहुत ज्यादा खराब हो गयी। उसे उल्टी-दस्त होने के साथ ही आंखे पलटनी शुरू हो गयी थी। इस बीच बच्ची अचेत हो गयी। इस बीच बच्ची की मां ईश्वरी पासवान ने डाक्टर ध्रुव को लगातार फोन लगाया, लेकिन उन्होने फोन रिसीव नहीं किया। इसके बाद पहुंचे एक डाक्टर और एक अन्य नर्स ने बच्ची को आइसीयू शिफ्ट किया। लेकिन यहां मौजूद डाक्टर ने बच्ची का पल्स रेट तक नहीं लिया। कुछ ही देर बाद बच्ची ने दम तोड़ दिया।
बच्ची के माता-पिता ने डा. ध्रुव पर उनकी बच्ची के इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया है। माता-पिता का कहना है कि बच्ची के खाली पेट होने के बाद भी डा. ध्रुव ने चार इंजेक्शन लगवा दिये, जिसकी वजह से न केवल बच्ची की तबीयत बिगड़ी बल्कि मौत हुई है। इसके लिये बच्ची के माता-पिता ने डाक्टर को जिम्मेदार बताया है। उनका कहना है कि बच्ची का शरीर नीला पड़ गया था, दवाओं के रिएक्शन की वजह से ही यह सब हुआ है। उन्होंने डाक्टर ध्रुव और नर्स पर कड़ी कार्रवाई की मांग की है।