मुंबई। शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गुरुवार रात प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया। ईडी ने शुक्रवार को सीएम केजरीवाल को राउज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया और उनसे पूछताछ के लिए 10 दिन की रिमांड मांगी है। हालांकि उन्होंने अभी तक मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा नहीं दिया है। देश ऐसा पहली बार नहीं हो रहा है, जब किसी मुख्यमंत्री या किसी बड़े नेता को गिरफ्तार किया गया हो। इससे पहले भी सीबीआई और ईडी द्वारा देश के कई बड़े नेताओं को गिरफ्तार किया गया है।

मनीष सिसोदिया
आबकारी नीति मामले में सबसे पहले दिल्ली के पूर्व उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी हुई। दिल्ली में जब नई शराब नीति लागू हुई थी, तब आबकारी विभाग मनीष सिसोदिया के पास था। उनपर आरोप है कि उन्होंने पद पर रहते हुए कई गलत फैसले लिए। जिसकी वजह से शराब कारोबारियों को फायदा हुआ और सरकारी खजाने को नुकसान पहुंचा। मनीष सिसोदिया 26 फरवरी 2022 से जेल में हैं।

संजय सिंह
दिल्ली आबकारी मामले में दूसरी गिरफ्तारी संजय सिंह की हुई। संजय सिंह पर आरोप है कि उनकी आरोपी दिनेश अरोड़ा मुलाकात हुई थी और एक्साइज डिपार्टमेंट के पास पेंडिंग मामला सुलझाया था। संजय सिंह 4 अक्टूबर 2023 से जेल में बंद हैं।

के. कविता
दिल्ली शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले ईडी ने 15 मार्च 2024 को तीसरी गिरफ्तारी के. कविता की थी। ऊपर आरोप है कि कविता ने आरोपी विजय नायर से मुलाकात की थी। विजय नायर साउथ ग्रुप से जुड़ा है। इस ग्रुप में साउथ के कई नेता और कारोबारी हैं।

सोनिया और राहुल गांधी
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और उनकी मां सोनिया गांधी दोनों से वित्तीय अपराध एजेंसी ने 2022 में पूछताछ की थी। ईडी इन दोनों नेताओं के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों की जांच कर रही है। हालांकि दोनों ने अपने ऊपर लगे आरोपों से साफ इनकार किया है।

हेमंत सोरेन
ईडी द्वारा झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री सोरेन को मनी-लॉन्ड्रिंग और भूमि के अवैध अधिग्रहण से संबंधित एक मामले में जनवरी में गिरफ्तार किया गया था। सोरेन प्रवर्तन निदेशालय द्वारा गिरफ्तार किए जाने से कुछ घंटे पहले इस्तीफा दे दिया था। उन्होंने अपने ऊपर लगे आरोपों को बेबुनियाद बताया।

भूपेश बघेल
छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पर ईडी ने भ्रष्टाचार में शामिल होने का आरोप लगाया। बघेल ने आरोपों से इनकार किया है और कहा है कि उनके खिलाफ मामला राजनीति से प्रेरित है। भूपेश बघेल पर बहुचर्चित महादेव सट्टा ऐप मामले में एफआईआर दर्ज हुई है।

लालू प्रसाद यादव
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री पर रेलवे में नौकरी के बदले जमीन मांगने का आरोप है। ईडी ने 2022 में कथित नौकरी के बदले जमीन घोटाले में एफआईआर दर्ज कारवाई। लालू प्रसाद यादव 2004 से 2009 तक यूपीए सरकार में केंद्रीय रेल मंत्री थे। उनपर जमीन के बदले रेलवे में नौकरी लगवाने का आरोप है। वह इस मामले में पहले से ही जेल में हैं।

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