अम्बिकापुर: बीते दिनों कलेक्टर जनदर्शन में आए बच्चों की मदद करते हुए कलेक्टर कुन्दन कुमार ने उनकी शिक्षा और आवासीय सुविधा की व्यवस्था करने के निर्देश शिक्षा विभाग के अधिकारियों को दिए थे जिसके परिपालन में आज की स्थिति में चार बच्चों का स्कूल में दाखिला करा दिया गया है। माता पिता के अभाव में इन बच्चों के बेहतर शिक्षा के लिए इनके परिजनों ने कलेक्टर से मदद के लिए आवेदन दिए थे। जिसपर संज्ञान लेते हुए कलेक्टर द्वारा अधिकारियों को निर्देशित किया गया। स्कूल खुलते ही बच्चों के प्रवेश की कार्यवाही शुरू की गई और बच्चों को प्रवेश दिलाया गया।
बतौली विकासखंड के ग्राम कोरबंदना की रहने वाली सुपिला पैकरा अपने बहन के दो बच्चों नितेश और सूरज की पढ़ाई को लेकर जनदर्शन में आवेदन दिया था। कलेक्टर श्री कुन्दन के मार्गदर्शन में अब नितेश और सूरज का दाखिला बैजनाथपुर के स्कूल मे करा दिया गया है। नितेश कक्षा तीसरी का छात्र है और सूरज कक्षा पांचवीं का छात्र है। इसी तरह विकासखंड बतौली से ही अपनी अभिभावक के साथ पहुंची बच्ची शनियारो को कलेक्टर की संवेदनशीलता का साथ मिला। माता पिता के निधन के बाद शनियारो की शिक्षा की चिंता लेकर आई अभिभावक ने अपनी बात कलेक्टर के समक्ष रखी। जिसपर कलेक्टर ने तुरंत बच्ची का दाखिला स्कूल और छात्रावास में करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिए थे। शनियारो का दाखिला कक्षा 6वीं के लिए कस्तूरबा आवासीय विद्यालय बतौली में करा दिया गया है।
विकासखंड लखनपुर के ग्राम पंचायत लोसंगा अंतर्गत पारा रानीकछार के रहने वाले दंपत्ति फिल्मोन कुजूर और गिलासो कुजूर अपनी नातिन के साथ जनदर्शन में पहुंचे थे। बच्चों के माता-पिता के अभाव में वे ही सपत्नीक बच्चों का पालन पोषण कर रहे हैं। वे जनदर्शन में नातिन दीपांजलि के स्कूली भविष्य की चिंता लेकर कलेक्टर के समक्ष पहुंचे थे।
कलेक्टर कुन्दन ने उनकी बातों को इत्मिनान से सुनकर त्वरित कार्यवाही करते हुए उप संचालक समाज कल्याण, जिला शिक्षा अधिकारी, सहायक आयुक्त आदिवासी विकास विभाग, जिला मिशन समन्वयक समग्र शिक्षा और जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग को आवश्यक मदद करने निर्देशित किया। कलेक्टर के निर्देश के पालन में दीपांजलि का दाखिला आदिवासी कन्या आश्रम बेलखरिखा में कराया गया है जिससे दीपांजलि अब पढ़ाई कर सकेगी और अपना बेहतर भविष्य सुनिश्चित कर सकेगी। इसके साथ ही कलेक्टर द्वारा स्कूली छात्रवृत्ति का लाभ एवं अन्य आवश्यक सुविधाएं भी सुनिश्चित कराने अधिकारियों को निर्देशित किया गया है।