कुसमी/अम्बिकेश गुप्ता: विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर सर्व आदिवासी समाज कुसमी द्वारा बुधवार को स्थानीय हाई स्कूल ग्राउंड में हजारो की संख्या में आदिवासी समाज के लोगों की उपस्थित में सभा का आयोजन किया गया. इस दौरान समाज के सभी वर्गों ने बढ़-चढ़ कर भाग लिया. जहाँ आदिवासी बालक – बालिकाओं द्वारा आदिवासी संस्कृति ओर ध्यान आकर्षक कराते हुवें मांडर की थाप पर नृत्य पेश किया. रैली के दौरान सभी ने मणिपुर की घटना को ध्यान में रखते हुवें हाथ में काली बांधकर आक्रोश रैली निकाला.

विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर छत्तीसगढ़ सर्व आदिवासी समाज के जिला संरक्षक राजेंद्र भगत के मार्गदर्शन में तथा समाज के वरिष्ठ लक्ष्मी प्रसाद निकुंज के अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम सम्पन्न कराया गया. जहाँ आदिवासी समाज के वक्ताओं द्वारा समाज को एकजुट होकर अपने अधिकारों के लड़ाई लड़ने हेतु एकजुट रहने का संदेश दिया। आयोजित सभा के बाद समाज के लोगों ने हाइस्कूल खेल मैदान से रैली निकाल कर पैदल मार्च करते हुवे कुसमी मुख्य मार्ग से होकर एसडीएम कार्यालय पहुँचे यहाँ पर तहसीलदार को राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौप कर अपनी मांगो से अवगत कराया।

ज्ञात हों की कुसमी में हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी 9 अगस्त को विश्व आदिवासी दिवस को सर्व आदिवासी समाज द्वारा धूम-धाम से मनाया गया। हाई स्कूल खेल मैदान कुसमी में आयोजित सभा में उपस्थित सभी लोगों ने समाज के विभूतियों के छाया चित्र पर पुष्प अर्पित कर आदिवासी परम्परा के साथ पूजा अर्चना कर कार्यक्रम की शुरुआत की गई.

इस दौरान कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहें लक्ष्मी प्रसाद निकुंज ने सभी अतिथियों का मंच पर स्वागत किया. अनुसूचित जाती जनजाति अधिकारी कर्मचारी संघ के ब्लॉक अध्यक्ष सौरभ कुमार ने राष्ट्रपति व राज्यपाल के नाम सौपे जाने वाले मांगो का ज्ञापन का वाचन कर उपस्थित हजारों की संख्या में पहुचे आदिवासियों के बिच साझा किया.

राजेंद्र भगत ने उपस्थित आदिवासी समुदाय के लोगों को सम्बोधित कर कहा हम सभी को जागने का समय है. आदिवासियों के साथ नया नया प्रयोग किया जा रहा है. अगर आप लोगो एक जुट नही होंगे अत्याचार के विरुद्ध में काले पन्ने में दर्ज होगा की इस वर्ष आदिवासियों के साथ अत्याचार हुआ है. आपकी संगठन अभी अभी समझिए मेडिकल में 20 प्रतिशत 32 डाक्टरों की पढ़ाई में आज का समय समाज के लिए है इस दौरान उन्होंने उपस्थित लोगों को कार्यकम में एकजुटता का नारेबाजी कराया. तथा आज के दिन का समय समाज के नाम दिए जाने की बात रखी.

प्रोफेसर सुषमा भगत ने कहा कि आदिवासी आदिकाल से निवास करने वाले को कहते हैं जो जल जंगल जमीन के असली मालिक है, लेकिन सभी एकता के सूत्र में बंध नही पा रहे हैं छोटे छोटे कबीले में बंटकर कमजोर हो गए हैं हमारे समाज को शिक्षा के साथ संविधान को पढ़ना जरूरी है अभी जो देश के कई हिस्सों में घटनाएं हो रही है उसमे आदिवासी महिला ही ज्यादा शिकार हो रही है। हमारे लिए गर्व करने की बात है की आदिवासी समाज लड़का लड़की को एक मानती हैं इनमे भेदभाव नहीं है और महिला व पुरुषो को भी समान मानती हैं उन्होंने कहा कि आगामी 10 व 12 बोर्ड की परीक्षा में जो भी आदिवासी छात्रा ब्लाक में प्रथम स्थान प्राप्त करेगी उन्हे अपने तरफ से मैं कक्षा 10 छात्रा हेतु 1100 एवं कक्षा 12वीं के छात्र 2100 सौ रूपये नगद पुरुष्कार दूंगी. आगे उन्होंने कहा क्षेत्र की आदिवासी महिलाओं को अच्छा काम दिलाने सहित अन्य प्रलोभन देकर बहला फुसलाकर कर बाहर ले जाते हैं यह गलत है क्षेत्र में मानव तस्करी हो रहा है इसके साथ कई और तरीके से लडकियो को भी कौशल विकास सहित अन्य स्कीम बताकर बाहर ले जाते हैं कोई समाज के साथ शोषण न कर सके इसके लिए हर किसी को सामने आकर सहयोग करना चाहिए मणिपुर में आदिवासी महिलाओं के साथ हो रहे अत्याचार पर भी समाज के बिच चिंता व्यक्त किया।

सभा को देवधन भगत सहित अन्य समाज के वरिष्ठजनों ने भी सम्बोधित किया. वहीं कार्यक्रम के बिच – बिच में पारंपरिक गीत व नृत्य आदिवासी समुदाय के बालक व बालिकाओं द्वारा प्रस्तुती दिया जाता रहा. इससे कार्यक्रम में मनमोहक प्रस्तुति के बीच क्षेत्रीय कला निखारने का भरपूर मौका आदिवासी समुदाय के बालक बालिकाओं को मिला। कार्यक्रम में शुरुआत से मंच का संचालन व अंतिम में आभार व्यक्त सौरभ कुमार व उत्पल भगत ने किया.

पहाड़ी कोरवाओ को वन अधिकार पट्टा का वितरण

आज के इस विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर कार्यक्रम में पहुचे तहसीलदार कुसमी शाशिकांत दुबे ने समाज के बिच 2 कोरवा पहादियों के शासन द्वारा जारी वन अधिकार पट्टा वितरण किए जाने की दस्तावेजों को दिया. समाज के वरिष्ठजनों के हाथों ग्राम पंचायत चैनपुर सेरंगाजोभी के निवासी बेचन पहाड़ी कोरवा को डेढ़ एकड़ व बुन्देल पहाड़ी कोरवा को एक एकड़ कुल भूमि का वन अधिकार पट्टा दिया गया. शासन द्वारा जारी वन अधिकार पट्टा प्राप्त कर राष्ट्रपति के दत्तक पुत्र कहे जाने वाले पहाड़ी कोरवा जनजाती के उक्त दोनों सदस्य बेहद खुश नजर आए।

इस अवसर पर आज के इस कार्यक्रम के मार्गदर्शक राजेंद्र भगत, कार्यक्रम के अध्यक्ष लक्ष्मी प्रसाद निकुंज, रामचंद्र दिवान, भूतपूर्व विधायक डॉ सोहन लाल, जनपद सदस्य खसरु राम बुनकर, पूर्व सरपंच संतोष इंजिनियर, इंद्रदेव निकुंज, जिला पंचायत सदस्य हीरामुनी निकुंज, सरपंच सुनीता भगत, बंसती भगत सहित भारी संख्या में आदिवासी समुदाय के लोग उपस्थित थें.

सामरी में ऑडिटोरियम सामुदायिक भवन स्वीकृति की मांग

आदिवासी समुदाय के प्रमुखो ने आज विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री से सामरी में आडोटोरीयम सामुदायिक भवन के स्वीकृती की मांग रखकर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन लुंड्रा विधायक डॉक्टर प्रीतम राम व सीतापुर विधायक अमरजीत भगत को आदिवासी जन जागरण विकास मंच की ओर से आदिवासी समाज के विभिन्न समाजो के प्रमुखो ने सामरी में आडोटोरियम सामुदायिक भवन के स्वीकृति की मांग की हैं. ज्ञापन में अवगत कराया की सामरी पाठ में 12 आदिवासी समाज का एक धार्मिक एंव सामाजिक संगठन है. जो समय-समय पर शिक्षा स्वास्थ्य पर जन जागरूकता का कार्य करता रहता है. पूर्व में भी समाज के मुखियाओ द्वारा इस मांग को रखा गया है.

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