अंबिकापुर।अंबिकापुर पॉलिटेक्निक कॉलेज में
बाल विवाह मुक्त करने के लिए एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला का विषय किशोर सशक्तिकरण एवं बाल विवाह रोकथाम। इस कार्यशाला में मुख्य वक्ता के रूप में ममता चौहान, यूनिसेफ, जिला समन्वयक, जिला सरगुजा, सुमंती खाखा ,विधिक सहपरवीक्षा अधिकारी, महिला एवं बाल विकास विभाग, डॉ.डीके.सोनी, वरिष्ठ अधिवक्ता (RTI specialist) उपस्थित थे।। इनके द्वारा द्वारा विभिन्न मुद्दों पर जैसे बाल विवाह रोकथाम अधिनियम, स्वास्थ्य, पोषण, शिक्षा,जल स्वच्छता, बाल श्रमिक निषेध, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, शाला त्यागी बच्चों को पुनः शिक्षा की मुख्य धारा से जोड़ने, स्पॉन्सरशिप योजना,किशोर सशक्तिकरण आदि विषयों पर विस्तार से चर्चा की गई।
कार्यशाला में मुख्य वक्ता ममता चौहान ने बाल विवाह के दुष्टप्रभाव और रोकथाम पर अपनी प्रस्तुतीकरण दी। जिसमें छत्तीसगढ़ राज्य में बाल विवाह की स्थिति, बाल विवाह के कारण, प्रभाव, उपाय एवं बाल विवाह के खिलाफ कानूनी उपाय के बारे में जानकारी देते हुए सरगुजा जिला को बाल विवाह मुक्त करने की अपील की। सुमंती खाखा द्वारा पाक्सों एक्ट, यौन शोषण के बारे में कानूनी जानकारी पर विस्तृत चर्चा की। इन्होंने महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं के बारे में छात्रों को अवगत कराया। डॉ. डीके.सोनी वरिष्ठ अधिवक्ता ने बाल अधिकार कानून एवं संरक्षण विषय पर चर्चा करते हुए विद्यार्थियों को स्वस्थ समाज के लिए जागरुक किया गया। महाविद्यालय के प्राचार्य आर.जे.पाण्डे के मार्गदर्शन में कार्यशाला संपन्न हुआ। प्राचार्य द्वारा यूनिसेफ एवं महिला बाल विकास विभाग द्वारा चलाए जा रहे इस कार्यक्रम की सराहना की। इस कार्यशाला का सफल संचालन राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी अमित कुमार बघेल द्वारा किया गया। इस कार्यशाला में महाविद्यालय के प्राध्यापक, प्राध्यापिकागण, राष्ट्रीय सेवा योजना स्वयं सेवकों के साथ महाविद्यालय के छात्र- छात्राएं उपस्थित थे।