प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज 11वीं सदी के भक्ति शाखा के संत रामानुजाचार्य की स्मृति में ‘स्टैच्यू ऑफ इक्वैलिटी’ की 216 फीट ऊंची प्रतिमा का अनावरण करेंगे। बता दें कि यह बैठी हुई मुद्रा में दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी प्रतिमा है। इसके अलावा पीएम आज राज्य के पाटनचेरु में अंतर्राष्ट्रीय फसल अनुसंधान संस्थान के अर्ध-शुष्क उष्णकटिबंधीय परिसर का दौरा कर संस्थान की 50वीं वर्षगांठ समारोह का भी शुभारंभ करेंगे। गौरतलब है कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव इस कार्यक्रम के लिए हैदराबाद आ रहे प्रधानमंत्री का स्वागत करने नहीं जाएंगे। यह जिम्मेदारी उन्होंने राज्य के पशुपालन मंत्री को दे दी है।
आईसीआरआईएसएटी पर डाक टिकट करेंगे जारी
पीएम अपने आईसीआरआईएसएटी दौरे में पौधा संरक्षण पर आईसीआरआईएसएटी के जलवायु परिवर्तन अनुसंधान केंद्र और आईसीआरआईएसएटी की रैपिड जनरेशन एडवांसमेंट केंद्र का भी आज उद्घाटन करेंगे। इस मौके पर प्रधानमंत्री आईसीआरआईएसएटी के विशेष रूप से डिजाइन किए गए प्रतीक चिन्ह का भी अनावरण करेंगे और एक स्मारक डाक टिकट भी जारी करेंगे। बता दें कि आईसीआरआईएसएटी एक अंतर्राष्ट्रीय संगठन है जो एशिया और उप-सहारा अफ्रीका में कृषि विकास के लिए अनुसंधान करता है।
बुद्ध की प्रतिमा सबसे बड़ी लेकिन स्टैच्यू ऑफ इक्वैलिटी है खास
बता दें कि बैठी हुई मुद्रा में दुनिया की सबसे बड़ी प्रतिमा थाइलैंड स्थित बुद्ध की प्रतिमा है। बुद्ध की प्रतिमा की ऊंचाई 302 फीट है। दूसरी ओर संत रामानुजाचार्य की प्रतिमा की स्थापना हैदराबाद के बाहरी इलाके शमशाबाद में 45 एकड़ के भव्य मंदिर परिसर में की गई है। इस भव्य मंदिर का निर्माण 2014 में शुरू हुआ था। प्रतिमा का निर्माण मिश्र धातु पंचलोहा से किया गया है। इसमें सोना, चांदी, तांबा, पीतल और जस्ता जैसे पांच धातुओं का प्रयोग किया गया है। प्रतिमा को 64 फीट ऊंचे स्थान पर स्थापित किया गया है। इस स्थान (आधार) को भद्र वेदी नाम दिया गया है। इस भद्र वेदी में डिजिटल लाइब्रेरी और रिसर्च सेंटर बनाया गया है। गौरतलब है कि प्राचीन भारतीय ग्रंथों एवं संत रामानुजाचार्य के कार्यों की जानकारी देती गैलरी भी इस मंदिर में स्थापित होगी है।